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हुनर की कोई उम्र नहीं होती - प्रगट सिंह

 शिक्षा मंत्री द्वारा 12वीं कक्षा की छात्रा खुशी शर्मा द्वारा वैज्ञानिक कल्पना संबंधी लिखी पुस्तक का विमोचन

चंडीगढ़, 26 अक्टूबरः


हुनर की कोई उम्र नहीं होती। यह एक व्यक्ति के अंतर्मन से पैदा होता है और सख़्त मेहनत से इसमें निखार आता रहता है। ऐसी एक मिसाल खुशी शर्मा ने कायम की है जिसने ‘‘द मिसिंग प्रोफेसी - राइज आफ दा ब्लू फीनिक्स’’ नाम की एक पुस्तक लिखी है।

हुनर की कोई उम्र नहीं होती - प्रगट सिंह

नौजवान लेखिका खुशी शर्मा द्वारा लिखी गई ‘द मिसिंग प्रोफेसी - राइज आफ दा ब्लू फीनिक्स’’ नाम की पुस्तक का आज यहां पंजाब भवन में पंजाब सरकार के शिक्षा, खेल, युवा सेवाएं और प्रवासी भारतीय मामलों के मंत्री प्रगट सिंह द्वारा विमोचन किया गया।

स प्रगट सिंह ने कहा कि जितना बदलाव 100 सालों में नहीं आया, उतना पिछले 15-20 सालों में हुआ। उन्होंने कहा कि आज के बच्चे बहुत होनहार है जिसकी उदाहरण नौजवान लेखिका खुशी है।
खुशी शर्मा कारमल कान्वेंट स्कूल, चंडीगढ़ में 12वीं कक्षा की छात्रा है। खुशी शर्मा स्कुऐश में दो बार राष्ट्रीय मैडल विजेता है। वह एक पियानोवादक है और एक कत्थक डांसर भी है, उसने इस भारतीय क्लासिकल डांस रूप में कुछ प्रदर्शन किये हैं। खुशी की समाज के लिए दी गई सेवाओं को अच्छी तरह मान्यता दी गई है और कूड़े को अलग-अलग करने के लिए कम्युनिटी आऊटरीच प्रोग्राम का नेतृत्व करने के लिए उसे सम्मानित किया गया है। वह सबसे छोटी ईसा मसीह योगा अध्यापक भी है, जिसने ग्यारह साल की उम्र में योगा शुरू किया था।

कोविड महामारी के दौरान ख़ास तौर पर लॉकडाऊन की मियाद, जबकि उसकी उम्र के ज़्यादातर विद्यार्थी मनोरंजक गतिविधियों में व्यस्त हुए हो सकते हैं, यह खोज उत्साही लगन के साथ कोविड 19 की प्रगति का माडल बना रही थी, उसकी तैयारी का मूल्यांकन कर रही थी और अपने ब्लॉग blogwithkhushi.co.in  पर नौजवानों में जागरूकता पैदा करने के लिए लेख पोस्ट कर रही थी। यह तब था जब उसने अपना पहला साई-फाई उपन्यास पूरा करना शुरू कर दिया।

अपने उपन्यास संबंधी बोलते हुये खुशी ने बताया कि साई-फाई थ्रिलर में मुख्य भूमिका में एक महिला पात्र ऐंबर हार्ट है, जो हिम्मत, दृढ़ता, लगन, टीम वर्क और लीडरशिप का प्रतीक है ; यह वह गुण हैं जिनको खुशी अपने के तौर पर पहचानती है। ऐंबर हार्ट अपने प्रिय निकलस को वापस लाने का रास्ता ढूँढने के लिए तीन सदियों से ब्रह्मांड में भटक रही है।

कहानी में सस्पेंस जोड़ते हुए लेखिका कहती है कि जब ऐंबर अपने प्रिय की खोज में व्यस्त हुई है, तो उसके ग्रह सोलारिस पर मुसीबतें पैदा हो रही हैं जिससे दुष्ट ताकतें इसको जीतने की धमकी दे रही हैं। क्या ऐंबर हार्ट अपने ग्रह को बचाने का चयन करेगी या अपने प्रिय को बचाने की चयन करेगी?
इस संबंधी और जानने के लिए आपको पुस्तक को पढ़ना होगा। पुस्तक सभी प्रमुख बुक स्टोरों में उपलब्ध है। कोई भी इसको ऐमाजौन पर ऑनलाईन भी मंगवा सकता है।

इस मौके पर दूसरों के इलावा लेखिका के पारिवारिक मैंबर आनंद गर्ग, राधा गर्ग, अजोए शर्मा और भावना गर्ग के इलावा विधायक कुलजीत सिंह नागरा और गुरप्रीत सिंह जीपी और पंजाब सरकार के सीनियर सिविल अधिकारी के सिवा प्रसाद, तेजवीर सिंह, नील कंठ अवाहड, ए एस मुग़लानी, डी के तिवाड़ी, प्रदीप अग्रवाल, गुरप्रीत कौर सपरा, परमिन्दर पाल सिंह और सुखजीत पाल सिंह उपस्थित थे।

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